Tuesday, December 21, 2010

रब

जब रंग लहू का एक

फिर कैसा महजब का फैर

मंदिर हो या मस्जिद

सब में बसे एक ही रब का नाम

अल्लाह कहो या राम

सब के दिल में हो बस प्यार का ही नाम

प्यार में ही बसे अल्लाह और राम

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