Wednesday, October 20, 2021

पदचाप

बारिश में उसके पदचापों की सुर ताल l
खनक रही जैसे अशर्फियों की तान ll

उतावले बादल आतुर घटाओं के साथ l 
रुनझुन रुनझुन बरसा रहे मेघों अंदाज़ ll

उलझता चला गया छोटा सा दिल ए बेक़रार l 
देख उसकी भींगी भींगी सुलझी सुलझी चाल ll  

जुल्फों से उसके टपकती पानी की लार l
जी चुरा ले गयी हौले से होठों के अल्फ़ाज़ ll

मयूर मन नाचते उनके क़दमों की आवाज़ l
घोल रही बारिश में पाजेब की मीठी झंकार ll

तरंग सी इठला रही इस बारिश की बूँदे कुछ खास l 
मिल सिमट रही उनकी झुकी पलकें जब आस पास ll 

बारिश में उसके पदचापों की सुर ताल l
खनका रही इस रूमानी रूह के सुर ताल ll

खनका रही इस रूमानी रूह के सुर ताल l
खनका रही इस रूमानी रूह के सुर ताल ll
 

27 comments:

  1. बहुत ही सुन्दर...
    वाह!!!

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    1. आदरणीया सुधा दीदी जी
      सुन्दर प्रेरणा दायक शब्दों से होंसला अफजाई के तहे दिल से आपका शुक्रिया
      सादर

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  2. जी नमस्ते ,
    आपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा कल गुरुवार(२१-१०-२०२१) को
    'गिलहरी का पुल'(चर्चा अंक-४२२४)
    पर भी होगी।
    आप भी सादर आमंत्रित है।
    सादर

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    1. आदरणीया अनीता दीदी जी
      मेरी रचना को अपना मंच प्रदान करने के लिये तहे दिल से शुक्रगुजार हूँ l
      आभार

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  3. खूबसूरत सृजन

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    1. आदरणीय ओंकार भाई साहब
      सुन्दर प्रेरणादायक शब्दों से उत्साहित करने के लिए आपका तहे दिल से शुक्रगुज़ार....
      सादर

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  4. Replies
    1. आदरणीया अनीता दीदी जी
      सुन्दर प्रेरणा दायक शब्दों से होंसला अफजाई के तहे दिल से आपका शुक्रिया
      सादर

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  5. Replies
    1. आदरणीय गगन भाई साहब
      सुन्दर प्रेरणादायक शब्दों से उत्साहित करने के लिए आपका तहे दिल से शुक्रगुज़ार....
      सादर

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    1. आदरणीया ज्योति दीदी जी
      सुन्दर प्रेरणा दायक शब्दों से होंसला अफजाई के तहे दिल से आपका शुक्रिया
      सादर

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  7. जी नमस्ते,
    आपकी लिखी रचना शुक्रवार २२ अक्टूबर २०२१ के लिए साझा की गयी है
    पांच लिंकों का आनंद पर...
    आप भी सादर आमंत्रित हैं।
    सादर
    धन्यवाद।

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    1. आदरणीया स्वेता दीदी जी
      मेरी रचना को अपना मंच प्रदान करने के लिये तहे दिल से शुक्रगुजार हूँ l
      आभार

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    1. आदरणीया मनीषा दीदी जी
      सुन्दर प्रेरणा दायक शब्दों से होंसला अफजाई के तहे दिल से आपका शुक्रिया
      सादर

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  9. सुंदर एहसास बारिश के साथ।
    अभिनव सृजन।

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    1. आदरणीया कुसुम दीदी जी
      सुन्दर प्रेरणा दायक शब्दों से होंसला अफजाई के तहे दिल से आपका शुक्रिया
      सादर

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  10. Replies
    1. आदरणीय हरीश भाई साहब
      सुन्दर प्रेरणादायक शब्दों से उत्साहित करने के लिए आपका तहे दिल से शुक्रगुज़ार....
      सादर

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  11. उतावले बादल आतुर घटाओं के साथ l
    रुनझुन रुनझुन बरसा रहे मेघों अंदाज़ ll
    अत्यंत सुंदर और मनमोहक सृजन अनुज ।

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    1. आदरणीया मीना दीदी जी
      सुन्दर प्रेरणा दायक शब्दों से होंसला अफजाई के तहे दिल से आपका शुक्रिया
      सादर

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  12. बारिश में उसके पदचापों की सुर ताल l
    खनक रही जैसे अशर्फियों की तान ll
    मन के सुकोमल एहसास सुमधुर अभिव्यक्ति प्रिय मनोज।👌👌👌👌

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    1. आदरणीया रेणु दीदी जी
      सुन्दर प्रेरणा दायक शब्दों से होंसला अफजाई के तहे दिल से आपका शुक्रिया
      सादर

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  13. रुनझुन रुनझुन बरसा रहे मेघों अंदाज़
    अत्यंत सुंदर और खूबसूरत सृजन

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    1. आदरणीय संजय भाई साहब
      सुन्दर प्रेरणादायक शब्दों से उत्साहित करने के लिए आपका तहे दिल से शुक्रगुज़ार....
      सादर

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